उत्तराखंड के पर्वतीय क्षेत्र चंपावत जिले में मंगलवार 4 नवंबर को एक दिल दहला देने वाला सड़क हादसा हुआ। लोहाघाट विकासखंड के सीमांत क्षेत्र डूंगरा बोरा के पास एक वागनआर कार (UK03 TA/2479) अनियंत्रित होकर लगभग 200 मीटर गहरी खाई में जा गिरी। इस दर्दनाक हादसे में दो लोगों की मौके पर ही मौत हो गई, जबकि एक व्यक्ति गंभीर रूप से घायल हुआ है।
स्थानीय ग्रामीणों ने बिना देर किए अपनी जान की परवाह न करते हुए रेस्क्यू अभियान चलाया और खाई में उतरकर घायलों और शवों को निकालने का प्रयास किया। सूचना मिलने पर पुलिस और प्रशासन की टीम भी मौके पर पहुंची और राहत कार्य में जुट गई।
मंगलवार सुबह करीब 9 बजे यह हादसा हुआ। प्राप्त जानकारी के अनुसार, ग्राम डूंगरा बोरा निवासी मुकेश कुमार (पुत्र फकीर राम) अपनी टैक्सी कार में लोहाघाट की ओर जा रहे थे। उनके साथ कार में मनीषा (पुत्री हजारी राम) और विक्रम राम (पुत्र सुरेश राम) भी सवार थे।
जब वाहन डूंगरा बोरा के समीप एक मोड़ पर पहुंचा, तभी वह अचानक अनियंत्रित होकर सड़क से नीचे फिसल गया और करीब 200 मीटर गहरी खाई में जा गिरा। पहाड़ी मार्गों की तीखी ढलानों और संकरी सड़कों के कारण वाहन सीधा नीचे जाकर पलट गया।
हादसे के बाद चीख-पुकार सुनकर आसपास के ग्रामीण मौके पर दौड़ पड़े। उन्होंने अपनी जान जोखिम में डालकर खाई में उतरकर घायलों की तलाश शुरू की। ग्रामीणों ने बताया कि विक्रम राम, जो हादसे में गंभीर रूप से घायल हुए थे, किसी तरह खाई से रेंगते हुए ऊपर पहुंचे और लोगों को घटना की जानकारी दी।
यह सुनते ही लोग रस्सियों और डंडों की मदद से नीचे उतरे और मुकेश कुमार व मनीषा के शवों को खोजने में जुट गए। लगभग एक घंटे की मशक्कत के बाद दोनों शवों को खाई से बाहर निकाला गया।
इस दौरान कई ग्रामीणों ने खाई में उतरते समय खुद को भी चोट पहुंचाई, लेकिन उन्होंने हिम्मत नहीं छोड़ी। यह मानवीय संवेदना और सामाजिक एकता का एक जीवंत उदाहरण था।
प्रारंभिक जांच में यह अनुमान लगाया जा रहा है कि वाहन तीखे मोड़ पर नियंत्रण खो बैठा। पहाड़ी सड़कों पर लगातार बढ़ते वाहन दबाव, खस्ताहाल सड़कों और गार्ड रेल की कमी को लेकर स्थानीय लोग पहले से ही चिंता जता चुके हैं।
स्थानीय लोगों का कहना है कि डूंगरा बोरा के पास की सड़क बेहद संकीर्ण और खतरनाक मोड़ों से भरी हुई है। बरसात के बाद जगह-जगह सड़क धंस चुकी है, जिससे दुर्घटनाओं का खतरा बढ़ गया है।
पुलिस ने वाहन के अवशेषों को जब्त कर लिया है और यांत्रिक परीक्षण के लिए भेजने की तैयारी की जा रही है ताकि यह पता लगाया जा सके कि तकनीकी खराबी या अत्यधिक गति भी दुर्घटना का कारण तो नहीं बनी।
विक्रम राम, जो इस हादसे में गंभीर रूप से घायल हुए, फिलहाल चंपावत जिला अस्पताल में भर्ती हैं। डॉक्टरों के अनुसार, उनके सिर और पैरों में गहरी चोटें आई हैं। डॉक्टरों ने बताया कि “विक्रम की हालत स्थिर है, लेकिन 48 घंटे तक निगरानी जरूरी है।”
विक्रम ने पुलिस को दिए अपने बयान में बताया कि कार तेज गति से नहीं चल रही थी, लेकिन अचानक स्टीयरिंग हिल गया और वाहन फिसलकर नीचे चला गया